सतना-ब्लाक शिक्षा अधिकारी के एक अजीबो-गरीब फरमान से शिक्षक पेशोपेस में पड़ गए हैं। दरअसल सतना जिले के उचेहरा ब्लाक के बीईओ आरपी मिश्रा ने शिक्षकों को फरमान जारी किया है कि वे अपने क्षेत्र में खुले में शौच जाने वालों को समझाइश दें। अगर नहीं मानते हैं तो मोबाइल से फोटो खींचकर पंचनामा बनाकर तुरंत भेजें। ब्लाक शिक्षा अधिकारी ने यह आदेश एसडीएम के निर्देश पर जारी किया है।
25 जून से किया लागू
ब्लॉक शिक्षा अधिकारी ने यह आदेश 25 जून से लागू कर दिया है। आदेश में ग्राम पंचायत पिपरीकला में दिनवार शिक्षकों की ड्यूटी लगाई है। इसमें प्रधानाध्यापक उमेश पांडेय तथा शिक्षक सुदामा प्रसाद शर्मा सोमवार व मंगलवार, सहायक शिक्षक रामशोभा उरमलिया तथा सहायक शिक्षक पंकज मिश्रा बुधवार व गुरूवार, सहायक शिक्षक रामगोपाल चौधरी तथा त्रिवेन्द्र कुमार मिश्रा को शुक्रवार, शनिवार व रविवार के दिन निगरानी करने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। इस आदेश की प्रतिलिपि बकायदा एसडीएम, जनपद सीईओ तथा संकुल प्राचार्य को भी भेजी गई है।
शिक्षकों ने शुरू किया काम
शनिवार को आदेश जारी होने के बाद रविवार को अवकाश होने के कारण शिक्षकों ने सोमवार से अपना काम शुरू कर दिया है। पहले दिन प्रधानाध्यपक उमेश पांडेय तथा शिक्षक सुदामा प्रसाद शर्मा ने पिपरी कला गांव में उन स्थानों को चिन्हित किया। जहां ग्रामीण खुले में शौच के लिए जाते हैं। साथ ही उन स्थानों के आसपास ग्रामीणों पर नजर रखी गई। प्रधानाध्यपक उमेश पांडेय ने बताया कि अधिकारी का आदेश है तो पालन करना ही पड़ेगा। अभी किसी को पकड़ा नहीं गया है, फिर निगरानी की जा रही है। हमने ग्रामीणों को घर-घर जाकर भी समझाइस दी है। उन्होंने बताया कि हम शिक्षकों काम करने में कठिनाइयों का भी सामना करना पड़ रहा है।
यह है आदेश
उचेहरा बीईओ आरपी मिश्रा ने बताया कि एसडीएम एमपी बरार के आदेश पर उन्होंने खुले में शौच करने वालों की निगरानी करने के लिए शिक्षकों की ड्यूटी लगाई है। जिसमें शिक्षकों को आदेश दिया गया है कि गांव में जहां लोग शौच करने जाते हैं उन स्थानों को चिन्हित कर लें। इसके बाद सुबह 5 बजे से 7 बजे तक और शाम को 7 बजे से 8 बजे तक उन क्षेत्रों को भ्रमण करें। यदि कोई खुले में शौच करता हुआ पकड़ा जाता है तो उसे समझाएं। इसके बाद भी न माने तो उसकी फोटो खींचे और मौका पंचनामा बनाकर एसडीएम को अवगत कराएं।
" बहुत ही निंदनीय आदेश जारी किया गया है। एक तो शिक्षकों की ड्यूटी इस काम में नहीं लगानी चाहिए। ऊपर से लोगों की निगरानी करना और फोटो खींचना समाज व संस्कृति के खिलाफ है। हम इसके खिलाफ कलेक्टर को ज्ञापन सौंपेंगे। "
-शैलेन्द्र त्रिपाठी,
प्रदेश उपाध्यक्ष राज्य अध्यापक संघ
प्रदेश उपाध्यक्ष राज्य अध्यापक संघ
"इस कार्य में पंचायत स्तर पर सभी कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई जा रही है, जिसके तहत एसडीएम कार्यालय से मुझे भी आदेश मिला था। जिसके परिपालन में मैंने शिक्षकों की ड्यूटी लगाई है।"
-आरपी मिश्रा,
ब्लॉक शिक्षा अधिकारी उचेहरा
ब्लॉक शिक्षा अधिकारी उचेहरा
'' इसमें फोटो खींचने का मतलब ये है कि यदि किसी को खुले में शौच करते हुए देखा गया तो जब वो निस्तार करके वापस लौट रहा हो तब उसे समझाइश दें। इसके बाद भी वो न माने तो नित्यक्रिया से फुरसत होने के बाद ग्रामीणों के सामने फोटो खींचकर पंचनामा बनाया जाए। इसमें विवाद जैसी कोई बात नहीं है। ''
एमपी बरार, एसडीएम
" जिले को खुले शौच से मुक्त कराना एक बड़ा लक्ष्य है, जिसे पूरा करने के लिए हर गांव में कर्मचारियों को जिम्मेदारी सौंपी गई है। इसमें कर्मचारियों को आदेश दिया गया है कि वो सुबह शाम गांव में घूमकर सीटी बजाएंगे। ताकि लोग अलर्ट हो जाएंगे और खुले में शौच जाने से बचेंगे। जहां तक फोटो खींचने वाली बात है वो गलत है ऐसा नहीं होना चाहिए। "
-संदीप शर्मा ,
सीईओ जिला पंचायत
सीईओ जिला पंचायत
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